बेंगलुरु साउथ पुलिस ने एक सनसनीखेज हत्या का खुलासा किया है, जहाँ एक दंपति ने गिग वर्कर की जान लेकर उसे सड़क हादसा दिखाने की कोशिश की। यह मामला न केवल सड़क पर बढ़ती हिंसा का उदाहरण है, बल्कि यह भी बताता है कि कैसे गुस्से में इंसान हत्या तक उतर सकता है।
घटना 25 अक्टूबर की रात करीब 11:30 बजे श्रीराम मंदिर क्षेत्र, पुट्टेनहल्ली में हुई। 24 वर्षीय दर्शन अपने दोस्त वरुण के साथ बाइक पर सवार था, तभी पीछे से एक तेज रफ्तार कार ने उन्हें टक्कर मार दी। दर्शन की मौके पर ही मौत हो गई जबकि वरुण गंभीर रूप से घायल हो गया। शुरुआत में यह मामला ट्रैफिक पुलिस ने एक सड़क दुर्घटना मानकर दर्ज किया।
लेकिन जब पुलिस ने आसपास लगे सीसीटीवी फुटेज की जांच की, तो सच्चाई सामने आई। फुटेज में साफ दिखा कि कार चालक ने जानबूझकर बाइक का पीछा किया और उसे टक्कर मारी। टक्कर से कुछ क्षण पहले दर्शन की बाइक कार से हल्के से टकराई थी, जिससे कार का साइड मिरर टूट गया था। इसी से गुस्से में कार चालक ने बाइक का पीछा किया और जानलेवा टक्कर दे दी।
जांच में आरोपी की पहचान मनोज कुमार (34) और उसकी पत्नी आरती शर्मा (30) के रूप में हुई। मनोज पेशे से कलारीपयट्टू मार्शल आर्ट्स ट्रेनर है और मूल रूप से केरल का रहने वाला है, जबकि आरती जम्मू-कश्मीर की निवासी है। दोनों बेंगलुरु के गोट्टिगेरे क्षेत्र में रहते हैं। पुलिस का कहना है कि टक्कर के बाद दोनों आरोपी मास्क पहनकर दोबारा मौके पर लौटे ताकि कार के टूटे हिस्से उठा सकें और सबूत मिटा सकें।
सीसीटीवी साक्ष्यों और तकनीकी जांच के बाद केस को हत्या की धारा 302 आईपीसी और साक्ष्य नष्ट करने की धारा 201 के तहत परिवर्तित किया गया। दोनों आरोपियों को गिरफ्तार कर अदालत में पेश कर दिया गया है। पुलिस अब कार की फॉरेंसिक जांच और डिजिटल सबूतों की पड़ताल में जुटी है।
इस घटना ने बेंगलुरु में काम करने वाले गिग वर्कर्स और डिलीवरी एजेंट्स के बीच भारी आक्रोश पैदा किया है। सिविल सोसायटी समूहों ने मांग की है कि सड़क पर गुस्से के मामलों में सख्त कार्रवाई हो और गिग वर्कर्स के लिए सुरक्षा कानूनों को मजबूत किया जाए। यह मामला इस बात का प्रतीक है कि सीसीटीवी निगरानी और सटीक जांच ही ऐसे अपराधों को उजागर करने की सबसे बड़ी ताकत हैं।



